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Draupadi Murmu:राष्ट्रपति चुनाव में एनडीए की ओर से खड़ी हुई उम्मीदवार द्रौपदी मुर्मू (Draupadi Murmu) ने राष्ट्रपति चुनाव जीतकर एक ऐतिहासिक जीत हासिल की है। द्रौपदी मुर्मू (Draupadi Murmu) देश की पहली आदिवासी महिला राष्ट्रपति के पद पर उभरी हैं। विपक्ष की ओर से यशवंत सिन्हा ने राष्ट्रपति पद के लिए चुनाव लड़ा था। मुर्मू ने उन्हें कड़ी टक्कर देते हुए इस चुनाव को जीत लिया और वो देश की 15वीं राष्ट्रपति बन गईं। जीत के बाद से ही चारों ओर से द्रौपदी मुर्मू (Draupadi Murmu) को बधाई संदेश मिल रहे हैं।
पक्ष और विपक्ष सभी के नेता मुर्मू को बधाई संदेश भेज रहे हैं। पीएम मोदी ने तो द्रौपदी मुर्मू के चुनाव जीतते ही उन्हें खुद घर पर जाकर बधाई दी थी। बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने मुर्मू को बधाई संदेश देते हुए ट्विटर पर लिखा, द्रौपदी मुर्मू को भारत का राष्ट्रपति निर्वाचित होने पर हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाएं। वहीं नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने भी अपने ट्वीट के माध्यम से द्रौपदी मुर्मू (Draupadi Murmu) को राष्ट्रपति बनने की बधाई दी। जिसके बाद वो बुरी तरह से ट्रोल हो गए।
आदरणीय श्रीमती द्रौपदी मुर्मू जी को भारत के 15वें राष्ट्रपति के रूप में निर्वाचित होने पर हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाएँ।
— Tejashwi Yadav (@yadavtejashwi) July 21, 2022
तेजस्वी यादव ने अपने ट्वीट में लिखा, द्रौपदी मुर्मू को भारत के 15वें राष्ट्रपति के रूप में निर्वाचित होने पर हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाएं।” लेकिन तेजस्वी अपने इस बधाई संदेश के बाद ट्रोल हो रहे हैं। तेजस्वी यादव के ट्वीट पर अब लोग कमेंट पर तंज कस रहे हैं। गोपाल सनातनी नाम के एक यूजर ने लिखा, “तेजस्वी यादव ने द्रौपदी मुर्मू को ‘मूर्ति’ बताया था.।हमने कभी उन्हें बोलते नहीं सुना। आज ध्यान से सुन लेना राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू बोलेगी।” वहीं, एक अन्य यूजर ने लिखा, “कैसा लग रहा है..? बिना वोट दिए शुभकामनाएं देना पड़ रहा है वो भी एक मूर्ति (आपके कहे अनुसार) को। एकदम बेशर्मी की हदें पार कर दिए आप।”
बता दें कि राष्ट्रपति पद के लिए वोटिंग करने के बाद तेजस्वी यादव ने मीडिया के सामने कहा था कि द्रौपदी मुर्मू एक न्यूट्रल और मजबूत राष्ट्रपति नहीं हो सकती हैं। उन्होंने कहा था कि राष्ट्रपति का पद संविधान में सबसे ऊंचा रहता है। इसलिए संविधान की रक्षा को लेकर उनका दायित्व सबसे ज्यादा है। फिलहाल जो देश का माहौल है उसमें लोकतंत्र और संविधान पर खतरा है। ऐसे में एक ऐसे राष्ट्रपति की जरूरत है जो इन सारी चीजों को देखे। तेजस्वी यादव ने कहा था कि हमलोग ऐसा राष्ट्रपति चाहते हैं जो मजबूत हो और सरकार अगर संवैधानिक संस्थाओं का दुरूपयोग करती है तो हस्तक्षेप करे, न कि सरकार के पक्ष में रहे। हमलोग न्यूट्रल राष्टपति चाहते हैं।